गेहूं के भंडार में कमी और रोटी की महंगाई, कीमतें बढ़ी, भारत में रोटी महंगी हो सकती है

नवंबर 2023 तक रिकॉर्ड निचले स्तर पर पहुंचे भंडार ने रोटी की कीमतों को वृद्धि का सामना करने के आसार को मजबूत किया है।

गेहूं के भंडार में कमी और रोटी की महंगाई, कीमतें बढ़ी, भारत में रोटी महंगी हो सकती है
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गेहूं के भंडार में कमी और रोटी की महंगाई, कीमतें बढ़ी, भारत में रोटी महंगी हो सकती है

भारत, दुनिया के दूसरे सबसे बड़े गेहूं उत्पादक में से एक है, लेकिन पिछले सात सालों में गेहूं के भंडार में दिखाई गई कमी ने बाजार में महंगाई की मार मारी है। नवंबर 2023 तक रिकॉर्ड निचले स्तर पर पहुंचे भंडार ने रोटी की कीमतों को वृद्धि का सामना करने के आसार को मजबूत किया है।

गेहूं के भंडार की स्थिति

जनवरी 2024 तक गेहूं के कुल भंडार में कमी हो गई है, जो सात साल के निचले स्तर पर पहुंच गया है। वही भारतीय खाद्य निगम (FCI) और राज्य एजेंसियों के पास इस समय 163.5 लाख टन गेहूं का भंडार है। बात करें तो साल 2017 में रिकॉर्ड किए गए 137.5 लाख टन के बंदरगाहों के बाद, नवंबर 2023 में यह सिर्फ 171.70 लाख टन रह गया है।

कारण और प्रभाव

गर्मी के कारण गेहूं की पैदावार में कमी और रूस-यूक्रेन विवाद के कारण वैश्विक कीमतों में वृद्धि के कारण भारत ने गेहूं के निर्यात में बंदोबस्त किया था।

मौजूदा महंगाई की बढ़ती कीमतों का कारण है, जिसमें 2023 में अमेरिकी गेहूं की कीमतें 35% से ज्यादा गिरीं, लेकिन भारत में 20% से अधिक वृद्धि दर्ज की गई।

सरकार के प्रयास

सरकार ने गेहूं की निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का निर्णय लिया है और थोक विक्रेताओं को अधिक से अधिक 1,000 टन गेहूं रखने की अनुमति नहीं दी है। एफसीआई के स्टॉक से अनाज को खुले बाजार में बेचने के लिए भी कई प्रयास किए जा रहे हैं।

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