"सरसों की अगेती खेती: सरसों की अगेती की बुवाई का सही तरीका बेहद लाभकारी फसल का खजाना"

सरसों की अगेती की बुवाई का सही तरीका किसानों के उत्पादन को बढ़ावा देता है। यह काम सितंबर के आसपास किया जा सकता है।

सरसों की अगेती खेती: सरसों की अगेती की बुवाई का सही तरीका बेहद लाभकारी फसल का खजाना
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सरकार की ओर से देश में तिलहनी फसलों (oilseed crops) की खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। तिलहनी फसलों में सरसों की खेती (mustard cultivation) एक महत्वपूर्ण स्थान रखती है। सरसों की खेती अन्य फसलों की अपेक्षा किसानों के लिए ज्यादा सुरक्षित और लाभकारी साबित हो रही है। इसके अलावा, इससे प्राप्त होने वाले तेल का उपयोग खाद्य उत्पादों से लेकर पशुओं के चारा तक कई तरीकों से होता है। इस लेख में, हम आपको सरसों की अगेती खेती के बारे में जानकारी प्रदान करेंगे और आपको सरसों की अगेती बुवाई के तरीकों के बारे में विस्तार से बताएंगे।

बुवाई का तरीका:

सरसों की अगेती की बुवाई का सही तरीका किसानों के उत्पादन को बढ़ावा देता है। यह काम सितंबर के आसपास किया जा सकता है। निम्नलिखित तरीके के साथ आप सरसों की अगेती को सफलतापूर्वक बो सकते हैं:

1. खेत की तैयारी:

खेत को अच्छे से जोत दें और उसे अच्छे से हरा भरा बनाएं।

खेत में उर्वरक डालकर उपजाऊता बढ़ाएं।

2. बीज का चयन:

सरसों की बुवाई के लिए सबसे उपयुक्त और जल्दी पकने वाली किस्मों का चयन करें।

इसके साथ ही, बीज की गुणवत्ता की भी जांच करें।

3. बोने का तरीका:

बोने के लिए खेत को बराबर दूरी पर खोदें और फिर खुदाई के बाद बोने।

बोने के बाद बीजों को धीरे-धीरे धकेलकर बोने ताकि वे सही गहराई में जाएं।

4. सिंचाई:

सिंचाई का ध्यानपूर्वक और सही तरीके से करें।

सिंचाई की आवश्यकता के अनुसार पानी दें और सुनिश्चित करें कि पौधों को अच्छे से पानी मिले।

5. खेती की देखभाल:

उचित रोपण और छिदकाव की देखभाल करें।

कीटाणु और बीमारियों से बचाव के लिए उपयुक्त कीटनाशक का प्रयोग करें।

पूसा सरसों की अगेती खेती की प्रमुख किस्में:

किस्म उपज प्रति हेक्टेयर तेल की मात्रा (%) बुवाई का समय

पूसा सरसों-25 14.7 क्विंटल 39.6% 107 दिन

पूसा महक (जेडी-6) 17.5 क्विंटल 40% 118 दिन

पूसा सरसों 27 15.35 क्विंटल 41.7% 118 दिन

पूसा सरसों 28 19.93 क्विंटल 41.5% 107 दिन

पूसा अग्रणी 13.5 क्विंटल 40% 110 दिन

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