खुशखबरी! ये 5 फलों की खेती किसान को कर सकती है मालामाल, सरकार भी दे रही 75% सब्सिडी, ऐसे करें आवेदन

खुशखबरी! ये 5 फलों की खेती किसान को कर सकती है मालामाल, सरकार भी दे रही 75% सब्सिडी, ऐसे करें आवेदन
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खुशखबरी! ये 5 फलों की खेती किसान को कर सकती है मालामाल, सरकार भी दे रही 75% सब्सिडी, ऐसे करें आवेदन

खेत खजाना: मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना भारत के किसानों को अपनी खेती को बढ़ावा देने और उन्नति का मार्ग प्रदान करने के लिए शुरू की गई है। इस योजना के तहत, किसान अनुदान और सरकारी सहायता प्राप्त करके निम्नलिखित पांच फलों में से किसी एक की खेती कर अच्छा लाभ कमा सकते हैं:

आम

लीची

केला

पपीता

अमरूद

यह योजना खेती के लिए उचित क्षेत्र विस्तार कर रही है और किसानों को 50 से 75 फीसदी तक का अनुदान प्रदान कर रही है। इसके साथ ही, किसानों को उन्नत किस्म के बीज भी उपलब्ध कराए जाते हैं। अगर आप इन फलों की खेती करते हैं, तो आर्थिक रूप से सबल हो सकते हैं और सरकारी सहायता से लाभ उठा सकते हैं।

मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना में आवेदन करने की प्रक्रिया

आपको मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए आवेदन करना होगा। इसके लिए आप निम्नलिखित तरीकों से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं:

नजदीकी सीएससी सेंटर पर जाएँ और वहां आवेदन करें।

ई-किसान भवन के माध्यम से आवेदन करें।

मोबाइल ऐप्लिकेशन के जरिए आवेदन करें।

आपके आवेदन प्राप्त होने के बाद, आपकी कागजात की सत्यापन प्रक्रिया होगी और उसके बाद आपको मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना के लाभ प्रदान किए जाएंगे। अपार्ट इसके, आपको उन्नत किस्म के बीज भी कृषि विभाग द्वारा प्रदान किए जाएंगे।

आवेदन के लिए आवश्यक कागजात

आपको इस योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए आवेदक का कृषि विभाग में पंजीकरण आवश्यक है। निम्नलिखित कागजात के साथ आवेदन कर सकते हैं:

रजिस्ट्रेशन नम्बर

खतियाणी जमीन की स्थिति का सत्यापन (वंशावली या खुद के नाम से जमीन होने पर लगान रसीद)

आधार कार्ड की प्रतिलिपि

बैंक पासबुक

अगर आप बटाईदार किसान हैं, तो आपको जारी वर्ष का इकरारनामा भी लगाना होगा। यह सभी कागजात के आधार पर, आप 15 जुलाई तक आवेदन कर सकते हैं और इस मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना का लाभ उठा सकते हैं।

इस योजना के अंतर्गत खेती के लिए क्षेत्र विस्तार के लिए मधेपुरा जिले में लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इस प्रकार है:

केले के लिए: 100 हेक्टेयर

आम के लिए: 30 हेक्टेयर

अमरूद, लीची और पपीता के लिए: 55 हेक्टेयर

इसलिए, अपनी प्राथमिकताओं के आधार पर अपने लिए उपयुक्त फल का चयन करें और मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना के अंतर्गत खेती करके आर्थिक रूप से सबल बनें।

ध्यान दें: ऊपर दी गई जानकारी वर्ष 2023 की है और इसे आधिकारिक स्रोतों से सत्यापित करें।

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