बैंक की नौकरी में मन नहीं लगा तो शुरू की केले की खेती, नौकरी छोड़ने का रिस्क पड़ा भारी या हुआ मुनाफा, इस खबर से खुद ही जान लीजिए

नालंदा जिले के युवा आलोक ने अपने करियर में एक बड़ा रिस्क लिया और बैंक पीओ की नौकरी को छोड़कर खेती का रास्ता चुना।

बैंक की नौकरी में मन नहीं लगा तो शुरू की केले की खेती, नौकरी छोड़ने का रिस्क पड़ा भारी या हुआ मुनाफा, इस खबर से खुद ही जान लीजिए
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बैंक की नौकरी में मन नहीं लगा तो शुरू की केले की खेती, नौकरी छोड़ने का रिस्क पड़ा भारी या हुआ मुनाफा, इस खबर से खुद ही जान लीजिए


नालंदा जिले के युवा आलोक ने अपने करियर में एक बड़ा रिस्क लिया और बैंक पीओ की नौकरी को छोड़कर खेती का रास्ता चुना। उन्होंने इस कदम के साथ ही अपनी मेहनत और निर्णय को सही साबित किया है।

खेती का नया संघर्ष

आलोक के लिए स्नातक की पढ़ाई के बाद बैंकिंग की नौकरी पाने का सपना था, और उन्होंने एसबीआई में पीओ के पद पर नौकरी प्राप्त की। लेकिन उनका दिल खेती में था, और वह अपने सपनों की पुरी करने के लिए बैंकिंग की नौकरी को छोड़ दिया।

खेती का सफल आरंभ

आलोक ने मेघी नगमा गांव में 2016 में केले की खेती करने का निर्णय लिया। वे एक बीघा जमीन में 700 G-9 वैरायटी के केले के पौधे लगाए, जिसका कुल खर्च लगभग ₹60,000 रुपए था। खुद की मेहनत और योगदान के साथ, उनकी केले की पैदावार बहुत अच्छी रही और वे डेढ़ लाख रुपए के करीब कमाने की उम्मीद कर रहे हैं।

ज्यादा पैमाने पर केले की खेती

केले की खेती के साथ, आलोक और उनके पिता ने जरवेरा फूल, शिमला मिर्च, और अन्य सब्जियों की खेती करना भी शुरू किया है। उनके बिजनेस में सालाना कमाई का आकर्षण है, और उनकी मेहनत और निर्णय ने उन्हें सफलता की ओर ले जाया है।

खेती से जुड़े युवाओं के लिए प्रेरणा

आलोक की सफलता की कहानी हमें यह सिखाती है कि रिस्क उठाना और अपने सपनों की पुरी करने के लिए मेहनत करना हमेशा फलदायक हो सकता है। आजकल के युवा बिना सोचे समझे सरकारी और प्राइवेट नौकरी की तरफ बढ़ रहे हैं, लेकिन खेती जैसे क्षेत्र में भी अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं।

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