बस खेती करने का ढंग बदला और बन गए लखपति, 3 साल पहले शुरू की खेती से आज कमाते है प्रति बीघा तीन लाख रूपये

तीन साल पहले शुरुआत किए गए केले के पौधों से आज उनकी कमाई दूसरे किसानों के लिए मिसाल बन चुकी है

बस खेती करने का ढंग बदला और बन गए लखपति, 3 साल पहले शुरू की खेती से आज कमाते है प्रति बीघा तीन लाख रूपये
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बस खेती करने का ढंग बदला और बन गए लखपति, 3 साल पहले शुरू की खेती से आज कमाते है प्रति बीघा तीन लाख रूपये

अमेठी के भौसिहपुर गांव के किसान रज्जू उपाध्याय ने मेहनत और लगन से केले की खेती में किया तरक्की का काम. तीन साल पहले शुरुआत किए गए केले के पौधों से आज उनकी कमाई दूसरे किसानों के लिए मिसाल बन चुकी है. उनके पास अब लाखों के पौधे हैं और वह एक बीघे में सालाना 3 लाख की बचत कर लेते हैं.

केले की खेती में सिंचाई का खास ध्यान

इतने दिनों में रज्जू उपाध्याय ने सीखा है कि बरसात में सिंचाई की आवश्यकता नहीं होती, गर्मियों में 5-6 दिनों के अंतराल पर, और सर्दियों में 12-13 दिनों के अंतराल पर सिंचाई करनी चाहिए.

वर्तमान समय में किसान रज्जू उपाध्याय कई बीघा में केले की खेती कर रहे हैं. जबकि वह एक बीघे में सालाना एक लाख की बचत कर लेते हैं. बता दें कि केले की खेती करने वाले किसान रज्जू उपाध्याय सामान्य परिवार से हैं और वह जैविक विधि से केले की खेती करते हैं.आज वह घर बैठे खूब कमाई कर रहे हैं.

केले की खेती से हो रहा है फायदा

रज्जू उपाध्याय का कहना है कि केले की खेती से उन्हें अब लाखों का मुनाफा हो रहा है. उन्होंने अन्य किसानों को भी प्रेरित किया है कि वे भी केले की खेती करें और अच्छा मुनाफा कमाएं. उनका उगाया गया केला दूर-दूर तक बेचा जा रहा है, जो दूसरे किसानों के लिए भी एक अच्छा साबित हो सकता है.

अब बदल गई किस्मत

रज्जू उपाध्याय की कहानी एक सामान्य परिवार से निकलकर एक सफल किसान बनने की है. उनकी मेहनत, सजगता और सीधी सोच ने उन्हें एक सफल किसान बना दिया है. आज उनकी कहानी कई अन्य किसानों के लिए मार्गदर्शन का कारण बन चुकी है.

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