रजतवंशी सांप: काला मुंह, पीला शरीर, लंबाई 9 फिट, कोबरा की तरह फुफकार

जो बात आश्चर्यजनक है, वह यह है कि यह सांप बिना जहर के होता है। कोबरा सांप की तरह यह भी फुंकारता है, लेकिन उसके फुंक में जहर नहीं होता है।

Update: 2023-08-26 14:08 GMT

फतेहाबाद: फतेहाबाद जिले के सूलीखेड़ा गांव में हाल ही में एक अत्यंत दुर्लभ और मनमोहक सांप की खोज में स्नेक मैन की टीम को सफलता मिली। इस खोज के दौरान वे गांव के एक घर से "रजतवंशी सांप" को पकड़ने में सफल रहे। यह सांप, जिसे आम भाषा में "काले सिर वाला सांप" भी कहते हैं, आकर्षण की एक अद्वितीय वस्तु है और इसका देखना एक अनोखा अनुभव प्रदान कर सकता है।

 

खासियतें जो बनाती हैं इसे विशेष: इस "रजतवंशी सांप" की खासियत है कि उसका मुंह काला होता है जबकि शरीर पीले रंग का होता है। इस विशेषता ने इसे कोबरा सांप के साथ तुलना करने का मौका दिलाया है, क्योंकि इसका दर्शनीय आकर्षण हर किसी को मोहित करता है। इसका शरीर लंबा और पतला होता है, जिससे यह और भी खतरनाक और दिलचस्प दिखता है।

बिना जहर के खतरे का नाम: जो बात आश्चर्यजनक है, वह यह है कि यह सांप बिना जहर के होता है। कोबरा सांप की तरह यह भी फुंकारता है, लेकिन उसके फुंक में जहर नहीं होता है। इसका मतलब यह कि यदि आप इस सांप से फुंकारे जाते हैं तो आपको जहर का खतरा नहीं होता है, जिससे यह आपके लिए एक स्थानीय आकर्षण बन सकता है।

प्राकृतिक सौंदर्य का नमूना: इस सांप की लंबाई 8 से 9 फीट तक हो सकती है, जिससे यह आकार में भी आकर्षण पैदा करता है। इसका शरीर काले सिर के साथ ऊपर से गुलाबी रंग का होता है, जिससे विशेष रूप से यह दिखने में बेहद मनमोहक होता है।

यह रजतवंशी सांप, जिसे आमतौर पर काले सिर वाला सांप के नाम से जाना जाता है, अपनी अनूठी दिखावट और बिना जहर के खतरे के लिए जाना जाता है। इसके दर्शन स्थानीय और पर्यटकों के लिए एक रोमांचक अनुभव प्रदान कर सकते हैं, जो इसकी खोज में शामिल होते हैं। इसका विशेष आकर्षण उसके अद्वितीय रंगीनता और प्राकृतिक सौंदर्य में छिपा है, जो दर्शनीयता को बढ़ावा देता है।

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