उत्तर प्रदेश में मीट, मछली और शराब की बिक्री पर लगाई रोक, जारी हुए नए दिशा निर्देश, देखें

उत्तर प्रदेश सरकार ने 22 जनवरी को राज्य में मीट और मछली की बिक्री पर रोक लगा दी है, इसके पीछे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन की तैयारियों को देखते हुए।

उत्तर प्रदेश में मीट, मछली और शराब की बिक्री पर लगाई रोक, जारी हुए नए दिशा निर्देश, देखें
X

उत्तर प्रदेश सरकार ने 22 जनवरी को राज्य में मीट और मछली की बिक्री पर रोक लगा दी है, इसके पीछे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन की तैयारियों को देखते हुए। सरकार ने पहले ही शराब की बिक्री पर पाबंदी लगाई थी और अब मछली की बिक्री पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया है। सभी सरकारी प्रतिष्ठान भी 22 जनवरी को बंद रहेंगे, इसका आदेश पहले ही जारी किया गया था। यह निर्णय उत्तर प्रदेश समेत देश के कुल 5 राज्यों ने लिया है, जो 22 तारीख को अवकाश का ऐलान कर चुके हैं। भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से अपील की है कि वे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर दिवाली जैसा उत्सव मनाएं।

इसी के बीच, केंद्र सरकार ने भी 22 जनवरी को अपने सभी कर्मचारियों को हाफ डे की छुट्टी का ऐलान किया है, जिससे पहले यूपी, एमपी, उत्तराखंड जैसे भाजपा शासित कई राज्यों ने उस दिन सार्वजनिक अवकाश घोषित कर चुके हैं। रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के तैयारियों में जोरों पर हैं, और पीएम नरेंद्र मोदी भी 11 दिनों का अनुष्ठान कर रहे हैं। इस विशेष साधना के दौरान, उन्होंने रात में एक चौकी पर सोने का नारियल का पानी ही पी रहे हैं। पिछले कई दिनों से पीएम नरेंद्र मोदी ने महाराष्ट्र में कालाराम मंदिर और फिर साउथ में गुरुवयूर मंदिर समेत कई धार्मिक स्थलों का भी दौरा किया है।

रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का आयोजन बड़े पैमाने पर हो रहा है, इसके कारण देश और दुनिया के 10 हजार अतिथियों को आमंत्रित किया गया है। इस आयोजन में दिग्गज कारोबारी, सिलेब्रिटी और खिलाड़ी भी शामिल होंगे। कई राजनीतिक दलों के नेताओं को भी आमंत्रण गया है, हालांकि कांग्रेस, एनसीपी, टीएमसी समेत कई राजनीतिक दलों ने 22 जनवरी को अयोध्या जाने से इनकार किया है। कांग्रेस ने तो इस आयोजन को भाजपा और आरएसएस का इवेंट ही करार दिया है।

सरकार द्वारा लिए गए इस निर्णय के पीछे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन की महत्वपूर्णता ने यह दिखाया है कि सरकार धार्मिक और सांस्कृतिक आयोजनों के प्रति सजग है और इन्हें महत्वपूर्ण मान रही है। इसके अलावा, आम जनता को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन में भाग लेने के लिए भी प्रेरित किया जा रहा है, जिससे सामाजिक एकता और सांस्कृतिक समृद्धि में सहायक हो सकता है।

केंद्र सरकार का फैसला भी महत्वपूर्ण है, जिसमें 22 जनवरी को कर्मचारियों को हाफ डे की छुट्टी का आयोजन किया गया है। यह निर्णय कर्मचारियों को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन में भाग लेने का अवसर देगा और उन्हें अपने परिवार के साथ समय बिताने का भी एक मौका मिलेगा।

Tags:
Next Story
Share it