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lado lakshmi yojana : हरियाणा में सभी महिलाओं को नहीं मिलेंगे 2100 रुपए, सबको नहीं! सिर्फ 75 लाख

lado lakshmi yojana : हरियाणा में सभी महिलाओं को नहीं मिलेंगे 2100 रुपए, सबको नहीं! सिर्फ

75 लाख

lado lakshmi yojana : फरवरी 2025 खत्म हो गया और हरियाणा की महिलाओं के बीच चर्चा का बाजार गर्म है। हरियाणा की बीजेपी सरकार ने साफ कर दिया है कि “Lado Lakshmi Yojana” के तहत हर महीने 2100 रुपए सिर्फ आर्थिक रूप से कमजोर महिलाओं को ही मिलेंगे, न कि सभी को। अगर आप गूगल पर “lado lakshmi yojana benefits” या “Haryana women scheme” सर्च कर रहे हैं, तो ये खबर आपके लिए ही है। विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने अपने संकल्प पत्र में हर महिला को ये राशि देने का वादा किया था, लेकिन अब सरकार ने इसे सिर्फ गरीब महिलाओं तक सीमित कर दिया है। इससे करीब 25 लाख महिलाओं को झटका लगा है, जो इस योजना का इंतजार कर रही थीं।

मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी और उनकी टीम का कहना है कि ये योजना अप्रैल 2025 से शुरू हो सकती है, बशर्ते सबकुछ ठीक रहा। Lado Lakshmi Yojana को लेकर सरकार मार्च में होने वाले बजट सत्र में 10-12 हजार करोड़ रुपए का प्रावधान करने की तैयारी में है। लेकिन सवाल ये है कि जब वादा सभी महिलाओं से किया गया था, तो अब गरीबों तक सीमित करने की नौबत क्यों आई? सरकार के इस कदम से कई सवाल उठ रहे हैं, और लोग जानना चाहते हैं कि आखिर इस योजना का फायदा किसे मिलेगा और कैसे। तो चलिए, इस खबर को थोड़ा करीब से समझते हैं।

 

हरियाणा में महिलाओं की总数 95 लाख से ज्यादा है, जिनमें 18 साल से ऊपर की उम्र वाली महिलाएं शामिल हैं। अगर बुजुर्ग और विधवा पेंशन पाने वाली महिलाओं को हटा दें, तो भी ये आंकड़ा 75 लाख के आसपास रहता है। बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में पहला वादा यही किया था कि हर महिला को 2100 रुपए मिलेंगे। अगर ऐसा होता, तो हर महीने 1575 करोड़ और सालाना 18,900 करोड़ रुपए का खर्चा आता। लेकिन सरकार ने अब इसे बीपीएल (Below Poverty Line) परिवारों तक सीमित कर दिया। राज्य में 52.95 लाख बीपीएल परिवार हैं, जिनमें करीब 50 लाख महिलाएं हैं। इनमें से सिर्फ गरीब और 18 से 60 साल की महिलाओं को ही Lado Lakshmi Yojana का लाभ मिलेगा, क्योंकि 60 साल के बाद बुढ़ापा पेंशन शुरू हो जाती है।

 

वित्त और योजना विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि अगर सिर्फ गरीब महिलाओं को 2100 रुपए प्रतिमाह दिए जाएं, तो हर महीने 1000 करोड़ और सालाना 10-12 हजार करोड़ रुपए का खर्च होगा। इसके लिए सरकार आगामी बजट में अलग से प्रावधान करने जा रही है। इसका मतलब ये भी है कि सरकार फिजूलखर्ची और दूसरी योजनाओं का बजट काट सकती है, ताकि इस वादे को पूरा किया जा सके। मुख्यमंत्री के मीडिया सचिव प्रवीण अत्रेय ने साफ कहा, “योजनाएं गरीबों के लिए ही होती हैं। पीएम नरेंद्र मोदी भी कहते हैं कि देश के संसाधनों पर पहला हक गरीबों का है। इसलिए Lado Lakshmi Yojana का फायदा सिर्फ गरीब महिलाओं को मिलेगा।”

 

अब बात करते हैं कि इस योजना का लाभ लेने के लिए क्या करना होगा। सरकार ने तय किया है कि 18 से 60 साल की वो महिलाएं पात्र होंगी, जिनके परिवार की सालाना आय 1.80 लाख रुपए से कम है। इसके लिए आपको कई कागजात जमा करने होंगे, जैसे पीपीपी (परिवार पहचान पत्र), जन्म प्रमाण पत्र, आधार कार्ड, बीपीएल कार्ड और बैंक खाते की डिटेल्स। सीएम नायब सिंह सैनी ने हाल ही में निकाय चुनाव प्रचार के दौरान कहा, “हम Lado Lakshmi Yojana को लागू करने के लिए तैयार हैं। बजट सत्र के बाद गरीब महिलाओं के खाते में हर महीने 2100 रुपए आने शुरू हो जाएंगे। इसके लिए अधिकारियों को तेजी से काम करने के निर्देश दे दिए गए हैं।”

 

लेकिन ये फैसला हरियाणा की सभी महिलाओं को खुश करने वाला नहीं है। विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने जोर-शोर से प्रचार किया था कि हर महिला को ये राशि मिलेगी। अब जब बात सिर्फ बीपीएल परिवारों तक सिमट गई है, तो 25 लाख से ज्यादा महिलाएं इस योजना से बाहर हो गई हैं। कुछ लोग इसे बीजेपी का “वादाखिलाफी” बता रहे हैं, तो कुछ का कहना है कि सरकार का फैसला सही है, क्योंकि सीमित संसाधनों को गरीबों तक पहुंचाना ही समझदारी है। इस बीच, विपक्षी दल भी मौके का फायदा उठा रहे हैं और सरकार पर निशाना साध रहे हैं।

 

आंकड़ों की बात करें तो ये साफ करते हैं कि सरकार ने क्यों ये कदम उठाया। नीचे दी गई टेबल से समझिए पूरा गणित:

 

विवरणसंख्याखर्च (हर महीने)खर्च (सालाना)
सभी महिलाएं (18+ उम्र)75 लाख1575 करोड़18,900 करोड़
बीपीएल महिलाएं (18-60 उम्र)50 लाख1000 करोड़12,000 करोड़

ये टेबल बताती है कि सभी महिलाओं को पैसा देना सरकार के लिए आसान नहीं था। 18,900 करोड़ सालाना का खर्च राज्य के बजट पर भारी पड़ सकता था। इसलिए सरकार ने इसे 12,000 करोड़ तक सीमित कर दिया, जो फिर भी एक बड़ी रकम है। लेकिन सवाल ये है कि क्या इससे बीजेपी का वादा पूरा माना जाएगा? या फिर ये सिर्फ आधा-अधूरा कदम है?

 

पशुपालकों और किसानों से जुड़े लोग भी इस खबर पर नजर रखे हुए हैं, क्योंकि बजट में कटौती का असर दूसरी योजनाओं पर पड़ सकता है। मिसाल के तौर पर, अगर चारा विकास या पशुपालन सब्सिडी में कमी हुई, तो इसका सीधा असर ग्रामीण अर्थव्यवस्था पर होगा। फिर भी, सरकार का दावा है कि वो हर हाल में गरीब महिलाओं तक ये मदद पहुंचाएगी। अप्रैल से शुरू होने वाली इस योजना के लिए अभी आवेदन प्रक्रिया शुरू नहीं हुई है, लेकिन जल्द ही सरकार इसके लिए पोर्टल लॉन्च कर सकती है।

 

हरियाणा में गरीबी रेखा से नीचे की महिलाओं के लिए ये योजना किसी वरदान से कम नहीं हो सकती। 2100 रुपए हर महीने से न सिर्फ उनकी रोजमर्रा की जरूरतें पूरी होंगी, बल्कि वो अपने बच्चों की पढ़ाई और सेहत पर भी ध्यान दे सकेंगी। लेकिन जिन महिलाओं को ये लाभ नहीं मिलेगा, उनके लिए ये निराशा की बात है। बीजेपी को इस फैसले से सबक लेना होगा कि वादे सोच-समझकर करने चाहिए, वरना जनता का भरोसा टूटने में वक्त नहीं लगता।

 

तो भाइयों और बहनों, अगर आप हरियाणा से हैं और Lado Lakshmi Yojana का इंतजार कर रहे हैं, तो अपने कागजात तैयार रखें। अप्रैल से पहले सरकार इसकी पूरी जानकारी देगी। खेत खजाना की ओर से यही सलाह है कि सही समय पर सही कदम उठाएं, ताकि इस योजना का फायदा आपको मिल सके। लेकिन अगर आप बीपीएल में नहीं आते, तो शायद आपको अगली बार के वादों का इंतजार करना पड़ेगा।

Sandeep Verma

नमस्ते दोस्तों, मैं पत्रकार संदीप वर्मा । पिछले 14 साल से पत्रकारिता में काम कर रहा हूं और अलग-अलग विषयों पर लिखना मुझे बहुत पसंद है। खासतौर पर खेती-बाड़ी, बागवानी और सरकारी योजना से जुड़े मुद्दों में मेरी गहरी रुचि है। मैं हमेशा कोशिश करता हूं कि आपको सच्ची और सही जानकारी दे सकूं, ताकि आप इन विषयों को अच्छे से समझ सकें। अगर आप भी इन जरूरी और दिलचस्प बातों को जानना चाहते हैं, तो जुड़े रहें https://khetkhajana.com/ के साथ। धन्यवाद

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