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Mustard Crop Protection सरसों की फसल को बर्बाद कर सकता है लाही कीट, जानें बचाव का कारगर फॉर्मूला
Learn how to protect your mustard crop from the harmful Aphid pest with effective prevention methods. Follow these agricultural tips for a healthy yield.
Mustard Crop Protection सरसों की फसल में लाही कीट का प्रकोप
कड़ाके की ठंड के कारण केवल इंसान ही नहीं, बल्कि फसलें भी खतरे में हैं। सरसों की फसल में इस ठंड में कीट लगने का खतरा बना रहता है, जो पूरी फसल को बर्बाद कर सकता है। आइए जानते हैं लाही कीट के बारे में विस्तार से और इसके बचाव के उपाय।
लाही कीट: सरसों की फसल का दुश्मन
लाही कीट की पहचान
सरसों की फसल में लगने वाला सबसे गंभीर कीट लाही कीट है। यह छोटे भूरे या काले रंग के कीट होते हैं, जो पौधे का पूरा रस चूस कर उसका विकास ठप कर देते हैं। इसके असर से:
- पौधे की पत्तियां सूखने लगती हैं।
- पौधा पूरी तरह से सिकुड़ जाता है और कमजोर हो जाता है।
- फली में दाने नहीं बन पाते हैं।
लाही कीट से बचाव के उपाय
पीली स्टिकी ट्रैप
लाही कीट से बचाव के लिए फसल में 5 से 6 पीली स्टिकी ट्रैप प्रति एकड़ के हिसाब से लगाएं। यह कीटों को आकर्षित करके उन्हें फंसाती हैं, जिससे कीटों की संख्या घटने लगती है।
क्लोरोपायरीफॉस 20% EC का छिड़काव
- समय: सरसों की फसल बनने के बाद 40 से 45 दिन में लाही कीट का प्रभाव दिखने लगे।
- दवा: क्लोरोपायरीफॉस 20% EC
- मात्रा: 200 मिलीलीटर दवा को 200 लीटर पानी में मिलाकर प्रति एकड़ के हिसाब से छिड़काव करें।
महत्वपूर्ण बातें:
उपाय | विवरण |
---|---|
पीली स्टिकी ट्रैप | 5-6 प्रति एकड़ |
क्लोरोपायरीफॉस 20% EC | 200 मिलीलीटर/200 लीटर पानी |
समय | फसल बनने के 40-45 दिन बाद |